दिनांक 26 फरवरी को छत्रपति शाहू जी महाराज विश्वविद्यालय परिसर की राष्ट्रीय सेवा योजना की पंचम इकाई द्वारा सात दिवसीय विशेष शिविर के तृतीय दिन ग्राम- सचिवालय, ग्राम -होरा कछार में विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया गया।
प्रातः स्वयंसेवकों द्वारा धरती मां की वंदना की गई। महाशिवरात्रि के अवसर पर सभी स्वयंसेवकों ने भजन गाए।
योगाभ्यास के पश्चात् स्वयंसेवकों ने महाशिवरात्रि पर्व के संबंध में जानकारी आपस में साझा की। स्वयं सेवकों ने गांव के बच्चों को भी योग का अभ्यास कराया।
स्वयंसेवकों हेतु दो तकनीकी सत्र आयोजित हुए।
प्रथम तकनीकी सत्र में
जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज, कानपुर के कम्युनिटी मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. संतोष कुमार बर्मन ने स्वयंसेवकों को बीमारियों को फैलने से रोकने के उपाय बताए।
उन्होंने कहा कि बीमारियां दो प्रकार की होती है कम्युनिकेबल डिजीज ( संक्रामक रोग) तथा नॉन कम्युनिकेबल डिजीज।
नॉन कम्युनिकेबल बीमारियों को हम स्वस्थ जीवन शैली अपनाकर रोक सकते हैं।
संक्रामक रोगों से बचने के लिए हमें संक्रमण के कारणों से बचना होगा।
साफ पानी, शुद्ध भोजन का सेवन, अपने आस पास के वातावरण को साफ रख हम संक्रामक रोगों से बच सकते हैं।
कुछ बीमारियों से बचने के लिए टीकाकरण भी आवश्यक है।
दूसरे तकनीकी सत्र में छत्रपति शाहू जी महाराज विश्वविद्यालय, कानपुर के कंप्यूटर एप्लीकेशन विभाग की एसोसिएट प्रोफेसर डॉ पुष्पा ममोरिया ने डिजिटल भारत के संबंध में स्वयंसेवकों को जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि वर्तमान में अधिकांश कार्य ऑनलाइन प्लेटफार्म से किए जा सकते हैं। सभी भुगतान भी ऑनलाइन हो रहे हैं।
सभी सरकारी सुविधाएं एवं योजनाएं ऑनलाइन उपलब्ध हैं।
उन्होंने कहा कि स्वयंसेवक स्वयं डिजिटल प्लेटफार्म का उपयोग करें तथा ग्राम वासियों को भी डिजिटल भारत की जानकारी देकर उन्हें तकनीक को अपनाने हेतु प्रेरित करें।
स्वयंसेवकों ने विशेषज्ञों से प्रश्न पूंछ कर अपनी जिज्ञासाओं को शांत किया।
छात्रा दिव्यांशी पाल ने खुजली से बचने के उपाय पूंछे।
डॉ संतोष कुमार बर्मन ने कहा कि खुजली के बहुत से कारण हैं, कारणों को समझकर हम उन से बचने के उपाय कर सकते हैं।
आस्था सिंह ने पूंछा कि गांव में एक बच्चे का वजन तेजी से गिर रहा है। इसके क्या कारण हो सकते हैं।
डा बर्मन ने बताया वजन घटने के बहुत से कारण है जिनमें से एक कारण पेट में कीड़ों का होना भी है।
गांव के बच्चों में पेट में कीड़ों का होना प्रायः पाया जाता है।
छात्रा सौम्या तिवारी एवं मौसम कुमारी ने भी प्रश्न पूंछे।
कार्यक्रम अधिकारी डा प्रवीन कटियार ने वक्ताओं को स्मृति चिह्न भी भेंट किए।
शिविर में नाश्ते, भोजन, चाय आदि को बनाने तथा बर्तनों एवं परिसर की साफ सफाई स्वयंसेवको द्वारा ही की जाती है।
स्वयंसेवकों ने आज गांव के बच्चों को भी भोजन कराया।
सांय को महाशिवरात्रि के अवसर पर एक सांस्कृतिक संध्या का भी आयोजन स्वयंसेवकों द्वारा किया गया।
इस सांस्कृतिक संध्या में स्वयंसेवकों ने भगवान शिव के भजन गाए तथा शिव जी से संबंधित गानों पर नृत्य कर सभी का मन मोह लिया।
भक्ति, आयुष, पल्लवी, पूर्वी, नीरज, सौम्या, नेहा, अभिषेक, टीना, मयंक, मेहा आदि स्वयंसेवकों ने प्रस्तुतियां दीं।
सांस्कृतिक संध्या में राष्ट्रीय सेवा योजना के समन्वयक डॉ श्याम मिश्रा, मीडिया प्रभारी डॉ विशाल शर्मा, सुरक्षा प्रभारी डॉ राघवेन्द्र सिंह, संपति अधिकारी डॉ प्रवीन भाई पटेल, डॉ अजय कुमार गुप्ता, श्री शिवांशु सचान, डॉ पुष्पा ममोरिया, डॉ मानस उपाध्याय, डॉ अजय कुमार यादव आदि शिक्षक गण उपस्थित थे।
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